हमेशा आगे रहूंगी
तुम अपनी आदते बदल दो मैं अपने इरादे बदल दूंगी , तुम अपनी जिद्द छोड़ दो मैं जीने की वजह दे दूंगी , तुम अपने कदम बढ़ाओ मैं चलने की हिम्मत दे दूंगी , तुम अपने हाथ बढ़ाओ मैं बढ़कर थाम लूँगी , मैं नारी हूँ ,रहती पीछे हूँ पर जब - जब जरूरत पड़ी आगे रही हूँ और हमेशा आगे रहूंगी ।