हर क्षण , हर पल
फैसले यहाँ बदलते है ।
ज़िन्दगी जीने की चाह भी
कितने रंग में ढलती है ।
अस्थाई ख्वाहिशों के महल
निराधार ही होते है ।
बेलगाम ख्यालो के संग
फिर भी
हवाओ में सफर तय
करते है ।
फैसले यहाँ बदलते है ।
ज़िन्दगी जीने की चाह भी
कितने रंग में ढलती है ।
अस्थाई ख्वाहिशों के महल
निराधार ही होते है ।
बेलगाम ख्यालो के संग
फिर भी
हवाओ में सफर तय
करते है ।
11 टिप्पणियां:
बहुत ही सुंदर लिखा आपने
हमेशा की तरह ये पोस्ट भी बेह्तरीन है
कुछ लाइने दिल के बडे करीब से गुज़र गई....
बहुत सुंदर और उत्तम भाव लिए हुए.... खूबसूरत रचना......
बहुत बढ़िया.
......फिर भी हवाओँ
मे सफर तय करते हैं ।
प्रशंसनीय ।
क्या बात है जी, बहुत खुब
किसमे हिम्मत है जो हमारी हिम्मत को फ़तेह कर दे भले ही हो जाएँ ख्वाहिशों के महल निराधार
किसमे ताकत है की हवाओं के रुख मोड पाए.
सुंदर शब्द रचना.
ख्यालों में तो पता नही कहां कहां पहुंचते हैं हम
ये ख्याल न हों तो जीवन कहाँ ... ये ही तो जीने की शक्ति देते हैं ... अच्छी रचना है ...
लाजवाब रचना लगी , बधाई ।
जीने की चाह भी कितने रंग में ढलती है....
...बेलगाम ख्यालों के संग फिर भी..
..हवाओं में सफ़र तय करते हैं....
वाह...क्या बात है....
काव्य सृजन की बुलंदियों का
दस्तावेज है ख्यालों की ये परवाज़.
एक टिप्पणी भेजें