शुक्रवार, 19 मार्च 2021

गुजारिश

दुर्घटनाओ की उठी लहरों को

फना करो ,

आकांक्षा की वधू को

सँवरने दो ,

उठे  यहाँ ऐसी आंधी कोई

मांझी
 कश्ती का रुख मोड़ दो

उमंग भरी मौजों की कश्ती

साहिल पे आने दो ,

फिजाओं में मस्तियों को 

लहराने दो

कारवां जब  हो निगाहों में

जुस्तजू सिमटी हो बाँहों में ,

ऐसे खुशनुमा माहौल में

किसी तूफ़ान का ज़िक्र  करो । 

23 टिप्‍पणियां:

Sweta sinha ने कहा…

जी नमस्ते,
आपकी लिखी रचना आज शनिवार 20 मार्च 2021 को शाम 5 बजे साझा की गई है......... "सांध्य दैनिक मुखरित मौन " पर आप भी सादर आमंत्रित हैं ....धन्यवाद! ,

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार बहुत बहुत शुक्रिया श्वेता जी,

संगीता स्वरुप ( गीत ) ने कहा…

बिलकुल नहीं करते
ज़िक्र हम तूफानों का
बस तुम स्वागत करो
आकांक्षाओं की वधु का
नावों को भी मोड़ दे देंगे
हवाओं के रुख का
साहिल पर भी बाँध देंगे
तुम्हारी उमंग भरी नाव को
हर तम को भगा बस
रोशन करेंगे ज्योति को ..

बहुत सकारात्मक रचना ... अच्छा लगा पढना और भावनाओं से जूझना भी :) :)


जिज्ञासा सिंह ने कहा…

बहुत सुंदर संदेश भरी रचना,काश कि हर कोई इतनी अच्छी और सच्ची सोच वाला हो,सादर नमन आपको।

ज्योति सिंह ने कहा…

रचना के बदले रचना, कमाल है संगीता जी,शब्दों की तलाश में हूँ कि आपकी तारीफ मे कुछ कह सकूँ,आपके स्नेहयुक्त शब्दों को पढ़ कर मैं भाव विभोर हो उठी,बेहतरीन टिप्पणी अब तक की,आप जैसे लोगों से मिलकर मेरा यकीं गहरा होने लगा है ये दुनिया इंसानों की दुनिया सदैव रही हैं और रहेगी,असल में संबंध भावनाओ और संवेदनाओ का ही होता हैं, ये सच्चे और अच्छे हो तो जिंदगी खूबसूरत हो ही जाती है, मेरा सौभाग्य है कि आप जैसे लोग मेरे साथ है,आपस का ये अपनापन यू ही कायम रहे,आपका सरल स्वभाव मुझे बहुत प्रभावित करता है,कभी कभी सोचती हूँ काश आपसे मिल पाती ,कुछ सीख पाती,तहे दिल से शुक्रिया आपका,प्यारी सी टिप्पणी के लिए जिसने मुझे ढेरों खुशियाँ दी।

ज्योति सिंह ने कहा…

जिज्ञासा कुछ न होने से अच्छा है कुछ होना,जिससे जिंदगी का भरोसा हमेशा बना रहे,तुम भी तो बहुत अच्छी हो, कितना अच्छा लिखती हो,मैंने अपने सारे ब्लॉगर साथियों में एक अच्छे इंसान को पाया है,सभी की सोच काफी गहरी है, सभी संवेदनशील बेहतरीन उत्कृष्ट रचनाकार है ।तुम सभी की स्नेहयुक्त प्रतिक्रिया हिम्मत बढ़ाती है,तुम सभी की सुंदर सुंदर रचना जिंदगी से मिलवाती है,जीने का मतलब समझाती है,प्यारी सी टिप्पणी के लिए बहुत बहुत धन्यबाद जिज्ञासा ।

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार कुलदीप जी शुक्रिया

संगीता स्वरुप ( गीत ) ने कहा…

प्रिय ज्योति,
ऐसा मैंने कुछ नहीं किया , बस पढ़ते हुए जो भी मन में भाव उठते हैं यूँ ही लिख देती हूँ । आपका तो पुराना साथ है । किस्मत में होगा तो ज़रूर मुलाकात होगी । स्नेह

मन की वीणा ने कहा…

बहुत सुंदर !आशा का संचार करती सार्थक कविता ज्योति जी।
सुंदर मनोभाव।

Meena Bhardwaj ने कहा…

सकारात्मकता बिखेरती खूबसूरत सी भावाभिव्यक्ति।

रेणु ने कहा…

कविसुलभ उदार भावनाओं कोसंजोये भावपूर्ण रचना प्रिय ज्योति जी। हार्दिक शुभकामनाएं ❤❤🌹🌹

शुभा ने कहा…

वाह!सकारात्मकता से भरी सुंदर रचना ।

उषा किरण ने कहा…

सुन्दर रचना 🥰

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार मीना जी, 🙏🙏

ज्योति सिंह ने कहा…

बहुत बहुत शुक्रिया रेणु जी 🌷🌷👋👋

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार शुभा जी 🙏🙏

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार उषा जी, 🙏🙏

ज्योति सिंह ने कहा…

हार्दिक आभार उषा जी, 🙏🙏

आलोक सिन्हा ने कहा…

बहुत बहुत सुन्दर रचना

Anuradha chauhan ने कहा…

बेहद खूबसूरत रचना।

Amrita Tanmay ने कहा…

मनभावन कृति के लिए हार्दिक बधाई।

दिगम्बर नासवा ने कहा…

भावपूर्ण अभिव्यक्ति ...